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इस प्रदेश में अब तक 59 लाख से अधिक परिवारों तक पहुंचा नल से जल

भोपाल। हर घर तक नल से शुद्ध जल पहुंचाने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य की पूर्ति की दिशा में मध्यप्रदेश सरकार पूरी ऊर्जा के साथ अनवरत कार्य कर रही है। इसी का परिणाम है कि मध्यप्रदेश को चौथे राष्ट्रीय जल पुरस्कार में उत्कृष्ट राज्य श्रेणी में प्रथम पुरस्कार प्रदान किया जा रहा है। जल-संसाधन के बेहतर उपयोग, जल-संरचनाओं के संरक्षण एवं संवर्धन में उत्कृष्ट कार्य के लिए मध्यप्रदेश को राष्ट्रीय जल पुरस्कार-2022 की सर्वश्रेष्ठ राज्य श्रेणी में प्रथम स्थान के लिये चुना गया है। यह पुरस्कार यह बताता है कि मध्यप्रदेश प्रकृति के उपहारों का सम्मान करना जानता है।
 
उल्लेखनीय है कि मध्यप्रदेश के बुरहानपुर ज़िले को जल जीवन मिशन में देश के पहले शत-प्रतिशत हर घर जल प्रमाणित ज़िला होने का गौरव प्राप्त है। मिशन का उद्देश्य पेयजल की नल-जल के माध्यम से घर-घर तक पहुँच के साथ दीर्घकालिक जल-स्त्रोतों का निर्माण, जल-संरक्षण और सतत संवहनीय रूप से जल के प्रबंधन पर कार्य करना है। जल का बेहतर प्रबंधन, जल-स्रोतों के संरक्षण और संवर्धन में जन-जागरूकता एवं जन-भागीदारी मिशन का महत्वपूर्ण घटक है।
 
मध्यप्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में अब तक 59 लाख 12 हज़ार 642 परिवारों के करोड़ों नागरिकों को नल से घर में ही जल प्राप्त हो रहा है। ग्रामीण जन को नल से प्राप्त शुद्ध जल, स्वास्थ्य सुरक्षा के साथ विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में निवास कर रही महिलाओं-बेटियों को राहत प्रदान कर उनके सशक्तिकरण में उपयोगी साबित हो रहा है। मिशन में ग्रामीणजन को जल के उचित उपयोग एवं जल-स्रोतों के संरक्षण एवं संवर्धन में जागरूक भी किया जा रहा है।
 
ग्राम जल एवं स्वच्छता समिति के माध्यम से इसे औपचारिक स्वरूप भी प्रदान किया गया है। इन समितियों में 50 प्रतिशत महिला भागीदारी है। मध्यप्रदेश में अब तक 31 हज़ार 175 ग्राम जल एवं स्वच्छता समिति गठित हो चुकी हैं। यह समितियाँ जल-स्त्रोतों के सतत् एवं संवहनीय उपयोग की दिशा में कार्य करते हुए जल के उचित प्रबंधन का कार्य कर रही हैं।
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