आषाढी स्वरगंध: दर्शकों ने 'लघु नाटिका' में देखा इंसानियत को मरते
2025-07-05 10:18 PM
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0- 13 वर्षीय सान्वी ने भरतनाट्यम से गणेश वंदन की प्रस्तुति से महाराष्ट्र मंडल के दर्शकों का किया प्रभावित
0- महाराष्ट्र मंडल हुडको भिलाई के अलंकार ग्रुप ने भगवान विट्ठल के एक से एक भजनों की प्रस्तुतियों से आषाढ मास का किया स्वागत
रायपुर। एक अंजान सा आदमी सड़क के किनारे पानी भरे गहरे गड्ढे में गिर जाता है। उसके बाद एक आम आदमी की तिल- तिल होती मौत का तमाशा रील बनाते हुए, मरते हुए इंसान की मदद करने से पहले अपनी जान- पहचान खोजती हुई आज की पीढ़ी निर्ममता से देखती रहती है। महाराष्ट्र मंडल भिलाई हुडको से संबंधित अलंकार ग्रुप के कलाकरों ने यही कुछ संवेदनशीलता के साथ 15 मिनट की लघु नाटिका 'गड्ढे में गिरी इंसानियत' में मंचित किया।

महाराष्ट्र मंडल के छत्रपति शिवाजी महाराज सभागृह में शनिवार की शाम को आयोजित आषाढी स्वरगंध में प्रस्तुत इस नाटिका की सबसे बड़ी विशेषता गड्ढे में गिरे अजनबी का कोई नाम नहीं बताया गया। दरअसल उसका और कोई नाम हो ही नहीं सकता, बल्कि वो तो इंसानियत है, जिसे हम सब प्रतिदिन हर पल, हर घड़ी अपने आसपास रील बनाने वालों की भीड़ में, मोबाइल फोन पर बतियाते संवेदनहीन लोगों के बीच दम तोडते देखते हैं। लघु नाटिका को अलंकार ग्रुप हुडको भिलाई के सभी 12 कलाकारों मुकुंद अवधुत, अजित मोने, अजय लोंढे, आशीष करमरकर, दिलीप पाठक, प्रशांत देशपांडे, श्रीकांत देव, मिलिंद इंदुरकर, विनय गडकर, रेवती जोशी, पूजा नालमवार ने छोटी- छोटी लेकिन महत्वपूर्ण भूमिकाओं को साकार किया।

इसी तरह स्वरगंध में 13 वर्षीय प्रतिभाशाली सान्वी अवधुत ने गणेश वंदना में भरतनाट्यम में हाथों की दर्जनभर मुद्राओं और गणेश सहित भगवान शिव, पार्वती सहित अनेक देवों की कलाओं से प्रभावित किया। आषाढी स्वगंध की शुरुआत गणेश वंदना से हुई। उसके बाद विट्ठल माऊली के भजनों ने आषाढी मास की शुरुआत का भक्तिमय अहसास कराया। इसके बाद ‘महाराष्ट्र माझा...’ की दमदार प्रस्तुति ने कार्यक्रम को दर्शकों के बीच स्थापित कर दिया।

भगवान विट्ठल की तस्वीर पर माल्यार्पण और दीप प्रज्जवलन से शुरू हुए कार्यक्रम के मुख्य अतिथि वरिष्ठ रंगसाधक अनिल श्रीराम कालेले थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता महाराष्ट्र मंडल के अध्यक्ष अजय मधुकर काले ने की व संचालन सचिव चेतन गोविंद दंडवते ने किया। भिलाई के कलाकरों का स्वागत व अभिनंदन कार्यकारिणी सदस्यों व समितियों के पदाधिकारियों ने किया। भिलाइ के कलाकारों को पर्यावरण समिति की ओर से तुलसी के पौधे भेंट किए गए।
