छत्तीसगढ़

बलरामपुर में बाघ की दस्तक... मवेशियों को जंगल में नहीं छोड़ रहे ग्रामीण

रायपुर। छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिले के वाड्रफनगर वन परिक्षेत्र में इन दिनों बाघ की धमक ने ग्रामीणों में भय का माहौल पैदा कर दिया है. हाल ही में एक बाघ ने गांव के पास किसान के एक बैल को मार दिया, जबकि एक अन्य बैल को गंभीर रूप से घायल कर दिया. इसके अलावा, बाघ ने एक ग्रामीण पर भी हमला करने का प्रयास किया, जिससे अब लोग जंगल में जाने से कतराने लगे हैं। मवेशियों को भी सुरक्षा के कारण जंगल में नहीं छोड़ा जा रहा है।

वन विभाग को क्षेत्र में बाघ के पैरों के निशान मिलने के बाद पहले संदेह था, लेकिन अब अधिकारियों ने बाघ की मौजूदगी की पुष्टि कर दी है। फुट प्रिंट्स की जांच से यह तय हो गया है कि बाघ जंगल में ही मौजूद है और अलग-अलग स्थानों पर विचरण कर रहा है। ग्रामीणों के लिए यह चिंता का विषय बन गया है, क्योंकि बाघ द्वारा पशुओं पर हमला करने की घटनाओं ने लोगों को डरा दिया है।

बाघ ने अब तक एक किसान के बैल को अपना शिकार बना लिया, जबकि एक और बैल पर हमला कर उसे बुरी तरह घायल कर दिया. इसके बाद से लोग अपने पशुओं को जंगल की ओर भेजने से डरने लगे हैं. कई ग्रामीणों का कहना है कि बाघ की धमक से उनकी दिनचर्या प्रभावित हो रही है, क्योंकि जंगल में मवेशियों को छोड़ने से भी वे बच रहे हैं।

बाघ के हमले की बढ़ती घटनाओं के बीच एक ग्रामीण पर भी बाघ ने हमला करने का प्रयास किया. हालांकि, ग्रामीण किसी तरह से खुद को बचाने में सफल रहा. इस घटना के बाद से वन विभाग ने क्षेत्र में मुनादी कराते हुए लोगों को जंगल में न जाने की चेतावनी दी है। वन अधिकारियों का कहना है कि सावधानी बरतते हुए लोग जंगल से दूर रहें और अपने मवेशियों को भी सुरक्षित स्थानों पर रखें।