छत्तीसगढ़

महिला के शव को कचरा गाड़ी से अस्पताल भेजा, पुलिस ने बुलवाई थी नगरपालिका की गाड़ी, एएसआई को किया गया सस्पेंड,

कोरबा। छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले से मानवता को झकझोर देने वाली एक शर्मनाक घटना सामने आई है। बाकीमोंगरा थाना क्षेत्र में एक बुजुर्ग महिला की अधजली लाश मिलने के बाद उसे अस्पताल ले जाने के लिए एम्बुलेंस या शव वाहन की व्यवस्था नहीं की गई। इसके बजाय पुलिस ने नगर पालिका की कचरा गाड़ी बुलवाकर शव को उसमें डालकर अस्पताल भिजवा दिया। इस अमानवीय व्यवहार का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया, जिसके बाद पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया।

वीडियो सामने आते ही कोरबा एसपी ने तत्काल कार्रवाई करते हुए मामले में लापरवाही बरतने वाले एएसआई पृथ्वीराज मोहंती को निलंबित कर दिया है। पुलिस अधिकारी पर मानवता के खिलाफ गंभीर कृत्य करने और विभाग की छवि को धूमिल करने का आरोप लगा है। मामले की विभागीय जांच भी शुरू कर दी गई है।

मंगलवार शाम को बाकीमोंगरा थाना अंतर्गत सोमवारी बाजार के पास एसईसीएल कॉलोनी की एक झुग्गी में रहने वाली महिला गीता विश्वास (65 वर्ष) की अधजली लाश उसके घर के पीछे मिली। सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस, फॉरेंसिक टीम और डॉग स्क्वॉड मौके पर पहुंची। जांच के बाद जब शव को अस्पताल भेजने की बारी आई, तब पुलिस ने एम्बुलेंस या शव वाहन की मांग करने की बजाय नगर पालिका की कचरा ढोने वाली गाड़ी मंगवा ली।

शव को प्लास्टिक में लपेटकर उसी कचरा गाड़ी में डालकर पोस्टमॉर्टम के लिए अस्पताल भेजा गया। यह दृश्य न केवल दिल दहला देने वाला था, बल्कि समाज और प्रशासन के प्रति एक गहरा सवाल भी खड़ा करता है—क्या किसी इंसान की मौत के बाद भी उसकी गरिमा की रक्षा नहीं हो सकती?

पुलिस की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि मृतका गीता विश्वास एसईसीएल कॉलोनी में अकेली रहा करती थीं। उनके पति अहिन्दर विश्वास की मौत के बाद बेटे को अनुकंपा नियुक्ति मिली थी। घटना के वक्त बेटा घर पर मौजूद नहीं था। आत्महत्या की आशंका जताई जा रही है, लेकिन असली वजह पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही स्पष्ट हो सकेगी।