आसन पर फिर ओम बिरला : ध्वनिमत से लोकसभा स्पीकर चुने गए
नई दिल्ली | ओम बिरला दूसरी बार फिर से लोकसभा स्पीकर चुने गए हैं | बिरला को ध्वनिमत से 18वीं लोकसभा का नया स्पीकर चुना गया | जिसके बाद पीएम मोदी और नेता विपक्ष राहुल गांधी उन्हें आसन तक लेकर पहुंचे |
ओम बिरला का ताल्लुक राजस्थान के कोटा से है | उन्होंने कोटा बूंदी लोकसभा सीट से तीसरी बार लोकसभा चुनाव जीता है | बीजेपी से बागी होकर कांग्रेस में शामिल हुए पूर्व विधायक प्रह्लाद गुंजन को 41974 वोटों से शिकस्त देकर वह लगातार तीसरी बार संसद पहुंचे हैं | RSS का गढ़ माने जाने वाले कोटा के चुनावी मैदान में बीजेपी ने लोकसभा स्पीकर ओम बिरला पर फिर से भरोसा जताया था | जो उन्होंने भी टूटने नहीं दिया | वह कोटा के इतिहास में वैद्य दाऊदयाल जोशी जी के बाद लगातार तीन बार विधानसभा और तीन बार लोकसभा चुनाव जीतने वाले पहले नेता हैं |
ओम बिरला 2003 से अब तक कोई भी चुनाव हारे नहीं हैं | साल 2003 में उन्होंने कोटा से पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ा और जीत हासिल की थी | साल 2008 में उन्होंने कोटा दक्षिण सीट से कांग्रेस नेता शांति धारीवाल को शिकस्त दी थी | साल 2013 में उन्होंने तीसरी बार कोटा दक्षिण सीट से चुनाव जीता था | लोकसभा चुनाव उन्होंने पहली बार साल 2014 में लड़ा और विजयी भी हुए | तब से लेकर अब तक यानी कि 2019 और 2024 में उन्होंने जीत का ही स्वाद चखा है हमेशा | साल 2019 में बीजेपी ने जब उनको स्पीकर बनाया, तो हर कोई हैरान रह गया | लंबा संसदीय अनुभव न होने के बाद भी ओम बिरला ने जिस तरह से सदन को चलाया, वह तारीफ-ए-काबिल रहा |
ओम बिरला का जन्म 23 नवंबर 1962 को राजस्थान के कोटा शहर में हुआ था | उनके पिता का नाम श्रीकृष्ण बिरला और माता का नाम शकुन्तला देवी था | 11 मार्च 1991 को उन्होंने डॉक्टर अमिता बिरला से शादी की | आकांक्षा और अंजलि बिरला नाम की उनकी दो बेटियां हैं उनकी | ओम बिरला की पढ़ाई-लिखाई की बात करें तो उन्होंने साल 1986 में महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय से एम.कॉम. की डिग्री हासिल की थी |